
जालंधर ब्रीज: पंजाब पुलिस की एंटी-गैंगस्टर टास्क फोर्स (एजीटीएफ) ने लॉरेंस बिश्नोई-रोहित गोदारा गैंग के दो गुर्गों को गिरफ्तार करके उनके कब्जे से एक .32 कैलिबर पिस्तौल बरामद किया है। यह जानकारी आज यहां पंजाब के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) गौरव यादव ने दी।
गिरफ्तार किए गए व्यक्तियों की पहचान जशनदीप सिंह उर्फ जशन संधू निवासी गांव 25 मल, जिला श्री गंगानगर, राजस्थान और गुरसेवक सिंह निवासी श्री मुक्तसर साहिब के रूप में हुई है।
डीजीपी गौरव यादव ने कहा कि आरोपी जशन संधू राजस्थान के गंगानगर में 2023 के हत्या केस में वांछित था और गिरफ्तारी से बचने के लिए जॉर्जिया, अज़रबैजान, सऊदी अरब और दुबई में लगातार ठिकाने बदल रहा था। उन्होंने आगे कहा कि हाल ही में अपने हैंडलरों के निर्देश पर आरोपी जशन दुबई से नेपाल पहुंचा और कानून से बचने के लिए सड़क मार्ग से भारत में दाखिल हुआ।
डीजीपी ने कहा कि प्राथमिक जांच से पता चला है कि आरोपी जशन ने गिरोह को लॉजिस्टिक सहायता प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी। उससे पूछताछ के बाद विदेशी हवाला ऑपरेटरों, ट्रैवल एजेंटों और विदेशों में छिपे भगौड़े गैंगस्टरों के ठिकानों के बारे में जानकारी मिली है, जो इन नेटवर्कों का पर्दाफाश करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
इस संबंध में जानकारी साझा करते हुए एडीशनल डायरेक्टर जनरल ऑफ पुलिस (एडीजीपी) एजीटीएफ प्रमोद बान ने बताया कि जशन के नेपाल में पहुंचने के बाद सड़क मार्ग से भारत में दाखिल होने की विशेष जानकारी पर तेजी से कार्रवाई करते हुए एआईजी गुरमीत चौहान की निगरानी में और डीएसपी बिक्रमजीत सिंह बराड़ की अगुवाई में एजीटीएफ की विशेष ऑपरेशन टीमों ने जशन को उसके साथी गुरसेवक के साथ सफलतापूर्वक ट्रेस करके उन्हें मोहाली से गिरफ्तार कर लिया। उन्होंने आगे बताया कि पुलिस टीमों ने उनके कब्जे से एक .32 कैलीबर पिस्तौल और सात कारतूस बरामद किए हैं।
एआईजी गुरमीत चौहान ने बताया कि प्राथमिक जांच से पता चला है कि आरोपी गुरसेवक अपने साथी जशन के माध्यम से लॉरेंस गैंग के सदस्यों के संपर्क में आया था और उनके द्वारा स्थानीय स्तर पर काम कर रहा था। उन्होंने आगे कहा कि आरोपियों द्वारा किए गए खुलासों से यह भी पता चला कि रोहित गोदारा पंजाब और नई दिल्ली में कुछ प्रतिष्ठित व्यक्तियों के हत्या की योजना बना रहा था। उन्होंने आगे बताया कि उनकी गिरफ्तारी से सनसनीखेज अपराधों को टालने में महत्वपूर्ण सफलता मिली है।
एआईजी ने कहा कि इस मामले में अगले-पिछले संबंधों का पता लगाने के लिए आगे की जांच जारी है।
इस संबंध में एसएएस नगर थाने में स्टेट क्राइम पंजाब में शस्त्र अधिनियम की धारा 25 (6)(7) के तहत एफआईआर नंबर 02 तिथि 07/04/2025 दर्ज की गई है।
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